-
योग निद्रा को आध्यात्मिक नींद भी कह सकते हैं
-
योग निद्रा को सीखने व करने के लिए किसी योग विशेषज्ञ की मदद लेनी चाहिए
-
योग निद्रा की मदद से आप अपने मस्तिष्क को आराम पहुंचा सकते
— रजत चांदीवाल गाजियाबाद
कोविड-19 के कारण 2 महीने से अधिक समय तक लोग अपने घरों में कैद रहे। जिसकी वजह से लोगों का निंद्रा चक्र खराब हो गया। सोने के समय में जागना और जागने के समय में सोने से शरीर की बायोलॉजिकल क्लॉक खराब हो जाती है। जिसके कारण शरीर में डाइजेस्टिव एंजाइम्स, हार्मोन्स सही नहीं बनते।
इस कोरोना काल में हम स्वस्थ तो रहे , लेकिन सबसे ज्यादा हमारी दैनिक दिनचर्या खराब रही। साथ ही कोरोना से बचने के लिए हमें शारीरिक दूरी भी बनानी पड़ी, लेकिन सामाजिक दूरी बना बैठने के कारण काफी लोग तनाव और अवसाद के शिकार हो गए ।जिसका असर नींद चक्र पर भी पड़ा है।
आयुष विभाग उत्तर प्रदेश द्वारा संचालित, क्षेत्रीय आयुर्वेदिक एवं यूनानी अधिकारी डॉ अशोक कुमार राणा के निर्देशन में चल रहे योग वैलनेस सेंटर शास्त्री नगर की योग प्रशिक्षक वंदना मिश्रा कोविड-19 के क्वारेंटाइन सेंटरों में ड्यूटी में तैनात रही। वंदना मिश्रा ने बताया कि योग और प्राणायाम के माध्यम से अवसाद और तनाव को दूर किया जा सकता है।
योग निद्रा क्या है
योग निद्रा को आध्यात्मिक नींद भी कह सकते हैं। योग निद्रा सोने व जागने के बीच की ऐसी अवस्था है। जिसमें शरीर को आराम पहुंचाते हुए नवीन ऊर्जा को संरक्षित करते हैं। इसके अभ्यास के शुरूआती दौर में कुछ समय के लिए सो भी सकते है, परंतु धीरे-धीरे इसे करने का सही तरीका आ जाएगा। इसको करते समय जमीन पर आराम से लेट जाएं और सांसों पर ध्यान देते हुए, अंर्तमन में झांकने का प्रयास करें। कुछ समय बाद शांति महसूस करने लगेंगे। इसी अवस्था को योग निद्रा कहा जाता है। योग आचार्यों के अनुसार कुछ समय की योग निद्रा आपकी घंटों की नींद से प्राप्त हुए आराम के सामान ही होती है। योग निद्रा को लगातार करने से मस्तिष्क पहले की अपेक्षा अधिक सक्रिय हो जाता है। योग के अन्य आसनों के पश्चात् जब योग निद्रा करते हैं, तो शरीर थकान रहित हो जाता है और ऊर्जा का स्तर नियत्रंण में आ जाता है।
योग निद्रा कैसे करें
योग निद्रा को सीखने व करने के लिए किसी योग विशेषज्ञ की मदद लेनी चाहिए। किसी योग विशेषज्ञ के निर्देशन में योग निद्रा का लाभ अधिक मिल पाता है। वैसे स्वयं भी इसको कर सकते हैं, लेकिन इसके सही स्तर तक पहुंचने के लिए लंबा समय लग सकता है।
- योग निद्रा के अभ्यास के लिए खुली जगह को चुनें। यह ऐसी जगह होनी चाहिए जहां पर कोई परेशान न करें और आसानी से योग निद्रा के अभ्यास किया जा सके।
- योग निद्रा के लिए ढीले कपड़ों का चयन करें। इसको करने से पहले जमीन पर बिछाने के लिए कंबल या कोई अन्य कपड़े की भी आवश्यकता होती है।
- कंबल या दरी को जमीन पर बिछाएं और शवासन (पीठ के बल लेटना) में लेट जाएं। आंखों को बंद कर लें। शुरू में गहरी श्वास लेते हुए धीरे-धीरे सामान्य अवस्था में आएं।
- इसके बाद आपको अपने मन व मस्तिष्क को शांत करना होगा और दिमाग में चलने वाले सभी विचारों को भूल जाना होगा।
- इसके बाद अपने ध्यान को दाएं पैर व पंजे की ओर ले जाएं। इस जगह पर कुछ सेकेंड तक अपने ध्यान को केंद्रित करें। इसके पश्चात ऊपर की ओर आते हुए घुटनों व जांघों की ओर ध्यान ले जाएं। इस दौरान दाएं पैर को पूरी तरह से सचेत अवस्था ध्यान करें।
- दाएं पैर के लिए अपनाई गई ध्यान प्रक्रिया को बाएं पैर के लिए भी अपनाएं।
- इसके बाद अपने शरीर के मध्य अंगों जैस- जननांग, पेट, नाभि व छाती की ओर ध्यान को ले जाएं।
- शरीर के मध्य भाग को पूरा करने के बाद ध्यान एक-एक कर दोनों हाथों की अंगुलियों, हथेलियों, कोहनियों, कंधों से होते हुए गर्दन, चेहरे व मस्तिष्क पर ले जाना होगा।
- सभी अंगों पर ध्यान ले जाने के बाद गहरी सांस लें और शरीर में आती स्वस्थ तरंगों को महसूस करें।
- इसके बाद धीरे-धीरे बाहरी वातावरण की ओर ध्यान को ले जाएं।
- थोड़ी देर बाद दाहिने करवट लेटते हुए। बाईं ओर की नासिका से सांस को बाहर छोड़े। इससे शरीर का तापमान सामान्य अवस्था में आ जाएगा।
- कुछ देर बाद धीरे-धीरे उठकर बैठ जाएं और आंखों को खोलें।
योग निद्रा के लाभ
इस कोरोना काल में लॉकडाउन के कारण हर दूसरे व्यक्ति को तनाव व अवसाद की समस्या हो गई है। तनाव व अवसाद होने की वजह से लोग अन्य बीमारियों की चपेट में भी आ जाते हैं। इस तरह की समस्याओं से बचने के लिए योग निद्रा एक कारगर उपाय मानी जाती है। योग निद्रा के द्वारा कई तरह की बीमारियों से बचा जा सकता है।
- योग निद्रा की मदद से आप अपने मस्तिष्क को आराम पहुंचा सकते हैं।
- योग निद्रा की मदद से योग की अन्य मुद्राओं को करने के बाद शरीर के तापमान को सामान्य स्तर पर लाया जा सकता है।
- इसकी मदद से विभिन्न योगासनों से प्राप्त ऊर्जा को नियंत्रित करके तंत्रिका तंत्र के कार्य को सुचारू किया जा सकता है।
- योग निद्रा से एकाग्रता बढ़ती है।
- योग निद्रा से आपके मस्तिष्क की थकान दूर होती है। जिसके प्रभाव स्वरूप आप तनाव मुक्त होते हैं।
- तंत्रिका तंत्र का कार्य सुचारू होने से शरीर के अन्य अंगों की कार्यक्षमता बढ़ जाती है
- योग निद्रा से मस्तिष्क को नियत्रंण में कर सकते है।